दूसरे नंबर पर रहीं भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) के कार्यवाहक अध्यक्ष सीके खन्ना की पत्नी शशि खन्ना को 1086 वोट मिले। कांग्रेस नेता अरविंदर सिंह लवली को 273 वोट मिले। अध्यक्ष बनने के बाद रजत शर्मा ने कहा कि सबसे पहले वह इस ऐतिहासिक जीत के लिए अपनी टीम के उन सारे सदस्यों को बधाई देना चाहता हूं जिन्होंने यह लैंडस्लाइट जीत हासिल की है। उन्होंने वोट देने के लिए डीडीसीए के सदस्यों का शुक्रिया भी अदा किया।
उल्लेखनीय है कि चार दिन चले इस चुनाव में कुल 2791 वोट पड़े थे। जस्टिस विक्रमजीत सेन की देखरेख में पहली बार डीडीसीए चुनावों में ईवीएम मशीन का इस्तेमाल किया गया था। इससे पहले इन चुनावों में प्रोक्सी सिस्टम का इस्तेमाल होता था, जिसकी हमेशा से आलोचना होती आई है। इसी प्रोक्सी सिस्टम को डीडीसीए में हो रहे भ्रष्टाचार की बड़ी वजह बताया जाता है।
रजत शर्मा और उनके पैनल की उम्मीदवारी को सत्तारूढ़ दल के एक बड़े नेता का समर्थन हासिल था और भारतीय ओलंपिक संघ के अध्यक्ष नरिंदर बत्रा भी उनका पुरजोर समर्थन कर रहे थे। बत्रा पूर्व में डीडीसीए के कोषाध्यक्ष रहे हैं।
डीडीसीए के एक वरिष्ठ अधिकारी ने नाम सार्वजनिक ना करने की शर्त पर कहा, ‘‘शर्मा को एक वरिष्ठ कैबिनेट मंत्री का समर्थन मिलने के साथ ही किसी दूसरे उम्मीदवार के चुनाव जीतने की कोई संभावना ही नहीं थी। हां यह उम्मीद नहीं थी कि एक पैनल सभी सीटें जीत जाएगा। यह अच्छा होगा कि शर्मा पूरी तरह मुक्त होकर डीडीसीए का संचालन करेंगे। इसका यह भी मतलब है कि डीडीसीए में सी के खन्ना के दौर का अंत हो गया, हां अगर वह शर्मा के साथ कोई समझौता कर लें तो बात अलग है।’’
दूसरे उल्लेखनीय विजयी उम्मीदवारों में खेल समिति के पूर्व अध्यक्ष विनोद तिहाड़ा (1,374 वोट) शामिल हैं जिन्होंने सचिव पद के चुनाव में करीबी प्रतिद्वंद्वी मंजीत सिंह (998) को 376 वोटों से हराया। चुनाव जीतने वाले अन्य उम्मीदवारों में राजन मनचंदा (संयुक्त सचिव), ओमप्रकाश शर्मा (कोषाध्यक्ष), संजय भारद्वाज (निदेशक) शामिल हैं।वहीं रेणु खन्ना महिला निदेशक बन गयीं।
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